मदन राठौड़ देर रात तक दिल्ली पहुंचेंगे, पुराने चेहरे हटाने की तैयारी तेज़
मतीष पारीक
जयपुर। 19 जून 2025 (न्याय स्तंभ) । राजस्थान भाजपा की राजनीति में बड़ा भूचाल आने वाला है। सूत्रों के हवाले से बड़ी खबर सामने आ रही है कि प्रदेश भाजपा की नई कार्यकारिणी की घोषणा अब महज़ औपचारिकता भर रह गई है। संगठन में लगातार मचे घमासान और बागी तेवरों के बीच भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ देर रात तक दिल्ली पहुंचने वाले हैं। जहां वे राष्ट्रीय नेतृत्व और संगठन महामंत्री बीएल संतोष समेत कई बड़े नेताओं से मुलाकात कर नई कार्यकारिणी की अंतिम लिस्ट पर मुहर लगाएंगे।
सूत्रों का दावा है कि मदन राठौड़ दिल्ली में देर रात तक चलने वाली बैठकों में अपनी पूरी रिपोर्ट पेश करेंगे, जिसमें पुराने चेहरों के खिलाफ उठ रही नाराजगी और संगठन में उनकी भूमिका का ब्यौरा भी शामिल होगा। प्रदेश भाजपा में इस वक्त माहौल बेहद तनावपूर्ण बना हुआ है। संगठन और सरकार के बीच की दूरी अब किसी से छुपी नहीं है। भाजपा के अंदरखाने और संघ के कई पदाधिकारी लंबे समय से शिकायत कर रहे हैं कि संगठन के कुछ पुराने पदाधिकारी सरकार में लॉबिंग कर अपने निजी स्वार्थ साध रहे हैं। वहीं आम कार्यकर्ता खुद को ठगा सा महसूस कर रहा है। आरोप है कि सरकार में ज़मीनी कार्यकर्ताओं की सुनवाई नहीं होती, काम के लिए चक्कर लगाने पड़ते हैं और प्रदेश संगठन के कुछ खास चेहरे ही पूरी सरकार कोहाईजैक किए हुए हैं।
सूत्र बताते हैं कि पिछले कुछ दिनों में यह नाराजगी इतनी तेज हो गई है कि अब ये बात दिल्ली दरबार तक भी पहुंच गई है। संघ और पार्टी के कई वरिष्ठ नेताओं ने बाकायदा केंद्रीय नेतृत्व से शिकायत कर दी है कि अगर वक्त रहते इन पुराने चेहरों को नहीं हटाया गया, तो भाजपा का ज़मीनी नेटवर्क पूरी तरह बिखर जाएगा और 2028 की राह मुश्किल हो जाएगी।
इसी सियासी दबाव को भांपते हुए अब मदन राठौड़ ने भी पुराने चेहरों को हटाने का मन बना लिया है। सूत्रों के अनुसार, नई कार्यकारिणी में कई ऐसे पुराने पदाधिकारी बाहर किए जाएंगे, जो लंबे वक्त से न संगठन का काम देख रहे हैं और न ही कार्यकर्ताओं की परवाह। खास बात ये है कि कुछ वर्तमान पदाधिकारी सरकार के खिलाफ भी अंदरखाने साजिश करने और लॉबिंग के आरोपों के घेरे में आ गए हैं।
सूत्र ये भी बता रहे हैं कि नई कार्यकारिणी में युवाओं, नए चेहरों और सक्रिय कार्यकर्ताओं को मौका दिया जाएगा। दिल्ली में देर रात या फिर समयानुसार होने वाली बैठक में संगठन महामंत्री बीएल संतोष समेत कई बड़े नेताओं से चर्चा के बाद अगले 48 घंटे में कार्यकारिणी की औपचारिक घोषणा हो सकती है।
सूत्र साफ तौर पर कह रहे हैं कि अगर इस बार पुराने चेहरों को हटाया नहीं गया, तो राजस्थान भाजपा में बगावत होना तय है। प्रदेश भाजपा का ये अंतर्विरोध अब खुलकर सतह पर आ गया है और ये देखना दिलचस्प होगा कि मदन राठौड़ दिल्ली दरबार से लौटकर कौन-कौन से चेहरे बदलते हैं और किसे बाहर का रास्ता दिखाया जाता है। अगले दो दिन राजस्थान भाजपा के लिए सियासी तौर पर बेहद निर्णायक माने जा रहे हैं।