जयपुर 23 जून 2023(न्याय स्तंभ)राज्य सरकार और निगम प्रबन्धन के उदासीन व संवादहीन रवैये के चलते राजस्थान के पाँचो विधुत निगमों के बिजली कर्मचारियों की ज्वलंत माँगों/ समस्याओं का समाधान नहीं होने के कारण विधुत निगमों RVUNL, RVPNL, JVVNL, AVVNL & JdVVNL के कर्मचारी अपनी ज्वलंत माँगों/ समस्याओं का समाधान लेकर गुरुवार को एसोसिएशन के बैनर तले विधुत भवन जयपुर के समक्ष एक दिवसीय सांकेतिक प्रदर्शन किया।
एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष पृथ्वीराज गुर्जर के नेतृत्व में नेतृत्व में 6 सदस्य प्रतिनिधि मंडल प्रमुख शासन सचिव भास्कर ए सावंत से सचिवालय में वार्ता की गई जिसमें 13 सूत्री मांग पत्र ज्ञापन सौंपा प्रमुख शासन सचिव ने कहा कि वर्तमान में जो o.p.s. में जो त्रुटि है उसको सुधार करके अति शीघ्र राज्य सरकार के कर्मचारियों के अनुसार कर दी जाएगी। अति शीघ्र तीनों वितरण कंपनियों को एक करने की योजना बनाई जा रही है।
जयपुर की तर्ज पर अजमेर और जोधपुर में भी डेट ऑफ जॉइनिंग से 240 एवं 2800 ग्रेड पे फिक्सेशन शीघ्र किया जाएगा। ए पार्टी टीम एवं जीएसएस संचालन में ठेकेदार मुक्त कर शीघ्र भर्ती कर उन्हें स्थाई किया जाएगा।
बाकी अन्य मांगो पर भी चर्चा की गई।
एक दिवसीय सांकेतिक धरने में पांचो कंपनियों के हजारों की संख्या में तकनीकी सहायकों ने एवं हेल्परो ने भाग लिया।
बिजली कर्मचारियों की निम्नलिखित मांग पत्र –
- पुरानी पेंशन योजना (OPS) का विकल्प चुनने वाले राजस्थान राज्य के विधुत निगमों RVPNL, RVUNL, JVVNL, AVVNL & JdVVNL के कार्मिकों के EPF/EPS के पेंशन निधि खातों (ईपीएस योजना-1995) में जमा हुये नियोक्ता अंशदान की कुल राशि/फण्ड को चक्रवृत्ति ब्याज सहित विधुत निगम कार्मिकों से वसूलने की नियम विरूद्ध, विधी विरूद्ध व अन्यायसंगतकार्यवाही को तत्काल रोका जाये ।
EPS पेंशन योजना 1995 के पैरा 39 (B) में वर्णित तथ्यों एवम् एस.बी. सिविल रिट पिटीशन संख्या 4160 / 2004 में माननीय हाईकोर्ट चंडीगढ द्वारा दिनांक 18.10.2011 द्वारा पारित निर्णय में घोषित विधी के अनुसार कार्मिकों के EPF/EPS के पेंशन निधि खातों (ईपीएस योजना-1995) में जमा हुये नियोक्ता अंशदान की कुल राशि/फण्ड को राजस्थान राज्य विधुत कर्मचारी Superannuation Fund Trust के बैंक खाते में ट्राँसफर करवाने की कृपा करें।
- छत्तीसगढ़ राज्य की तर्ज पर राजस्थान ऊर्जा विभाग का गठन किया जाए,जिससे विधुत निगम कार्मिक फैक्ट्री एक्ट से निकलकर सरकारी कर्मचारी की श्रेणी मेंआ सकें एवं उनके समान ही हमें सुख सुविधाएं उनको मिल सके, साथ ही एक निगम सेदूसरे निगम में स्थानांतरण की समस्या का स्थाई समाधान हो सके अथवा समयबद्ध (टाईम बाऊण्ड) स्थानान्तरण पॉलिसी बनाते हुये इच्छुक कर्मचारियों / अधिकारियों के एक निगम से दूसरे निगम में स्थानान्तरण किये जाये।
- विधुत निगमों में दिसम्बर 2015 में हुई टूल डाऊन हडताल से पीडीत प्रसारण निगम के कर्मचारियों श्री चेतन दवे व श्री गोतम मेघवाल और जयपुर डिस्कॉम के कर्मचारी श्री शंकरलाल सैनी व वीरेन्द्र यादव एवम् अन्य किसी भी कार्मिक के विरूद्ध की गई समस्त दमनात्मक कार्यवाहीयों को निरस्त करवाया जाये।
- RVPNL, RVUNL, JVVNL,AVVNL, JdVVNL में भी नये केडर का ऑप्शन ले चुके टेक्नीकल हेल्पर कर्मचारियों के 2400 एवं 2800 ग्रेड पे के JVVNL की भाँति फिक्सेशन डेट ऑफ जॉइनिंग से किए जाएं एवम् नये केडर में ऑप्शन ले चुके डिप्लोमाधारी तकनीकी कर्मचारियों को पुराने केडर में दिनांक 01.04.2018 व 01.04.2019 की स्थिति में प्रमोशन दिलवायें जाये।
- हेल्पर द्वितीय की ग्रेड पे1750 या 1850 से बढाकर 2000 की जाये या स्केल नं.4 दी जाये।
- आरजीएचएस (RGHS) स्कीम को विधुत निगमों यथा RVUNL, RVPNL, JVVNL, AVVNL &JdVVNL में भी राज्य सरकार के अन्य विभागों के समान तरीके से लागू किया जाए एवम् IPD व आउटडोर (OPD) की लिमिट राशि को राज्य सरकार के विभागों की तरह अनलिमिटेड किया जावे और 01.01.2004 से पूर्व में नियुक्त कार्मिकों एवम् विधुत निगम पेंशनरों को भी आरजीएचएस (RGHS) स्कीम की सुविधा राज्य सरकार के कार्मिकों की भाँति दिलवाई जाये।
- निगम के बिजली कर्मचारियों को अतिआवश्यक सेवाओं के विभाग (राजस्थान पुलिस, पटवारी व चिकित्सा विभाग) और भारतीय रेलवें की भँति हार्डड्यूटी अलॉउन्स राशि दिलवाया जाये एवं बिजली कर्मचारियों के लिये बिजली फ्री की जाये। जैसे रेलवें में रेलवें कर्मचारियों को रेल यात्रा व रोडवेज में रोडवेज कर्मचारियों को बस यात्रा फ्री है।
- 12वीं पास अनुकंपा नियुक्ति कर्मचारियों को एलडीसी बनाया जावे नियुक्ति तिथि से उन्हें संपूर्ण परी लाभ दिए जाएं।
- विद्युत निगमों में कनिष्ठ अभियंता द्वितीय की पोस्टों को पुनर्जीवितकरके अन्य विभागों की भांति डिप्लोमा होल्डर तकनीकी कर्मचारियों कोपदोन्नति दी जावे।
- माननीय मुख्यमंत्री जी की बजट घोषणा के अनुसार FRT टीम एवं GSS संचालन हेतु लगाए गए कर्मचारियों को ठेकेदारी मुक्त करके संविदा पर लिया जावे।
- सीनीयर इंजिनियरिंग सुपरवाईजर का पद पुनर्जिवीत कर सृजित किया जाये एवम् PHED की भाँति विधुत निगमों में भी इंजिनियरिंग सुपरवाईजर पद पर पदोन्नत कर्मचारियों को AEN के कुल स्वीकृत पदों के 10 प्रतिशत पदों पर पदोन्नन्ति दिलवाई जायें।
- प्रसारण निगम में प्रत्येक 132 केवी जीएसएस पर इंजिनियरिंग सुपरवाईजर का पद सृजित किया जाये।
- अन्य युनियनों की तर्ज पर एसोसिएशन को प्रदेश स्तरीय कार्यालय संचालन हेतु जयपुर स्थित विधुत भवन अथवा चम्बर पॉवर हाऊस अथवा पुराना पॉवर हाऊस परिसर में स्थान आवंटित किया जाये।
यदि बिजली कर्मचारियों की बहु-प्रतीक्षित और जायज माँगो के निस्तारित करने के संबंध विधुत निगम प्रशासन व राज्य सरकार स्तर पर कोई ठोस कार्यवाही नहीं होने की स्थिति में 7 दिवस पश्चात विधुत निगमों के बिजली कार्मिकों को मजबूरीवश एसोसिएशन के बैनर तले जयपुर में अनिश्चितकालीन विशाल धरना प्रदर्शन करेंगे।